छतरपुर। छतरपुर जिला अस्पताल की लापरवाही एक बार फिर सामने आई है, जहां पुलिस लाइन में पदस्थ आर्म्स शाखा के एसआई लक्ष्मण सिंह की हार्ट अटैक से मौत हो गई। परिजनों और पुलिस साथियों ने अस्पताल प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि समय पर सही इलाज नहीं मिलने के कारण एसआई लक्ष्मण सिंह की जान गई।
7 बजे सीने में दर्द के बाद पहुंचे अस्पताल, लेकिन नहीं मिला ICU बेड
एसआई लक्ष्मण सिंह को मंगलवार सुबह करीब 7 बजे सीने में तेज दर्द और घबराहट की शिकायत हुई, जिसके बाद उन्हें तत्काल जिला अस्पताल लाया गया। परिजनों और साथियों का आरोप है कि डॉक्टरों ने गंभीर स्थिति के बावजूद उन्हें आईसीयू में भर्ती करने के बजाय चौथी मंजिल के सामान्य वार्ड में भेज दिया। इस दौरान उनकी हालत बिगड़ती चली गई, लेकिन उन्हें उचित इलाज नहीं मिला।
अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही का आरोप
मृतक एसआई के परिजनों और पुलिस कर्मियों ने अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए कहा कि अगर उन्हें समय पर आईसीयू में भर्ती कर सही इलाज दिया जाता, तो उनकी जान बच सकती थी। परिजनों ने कहा कि लक्ष्मण सिंह पुलिस विभाग के कर्मठ अधिकारी थे, लेकिन जब एक पुलिस अधिकारी को भी अस्पताल में इलाज नहीं मिल पा रहा, तो आम जनता की स्थिति क्या होगी?
सुधरेगा जिला अस्पताल या जारी रहेगी लापरवाही?
छतरपुर जिला अस्पताल में इस तरह की लापरवाही पहले भी सामने आ चुकी है, लेकिन प्रशासन अब तक इस ओर गंभीरता से ध्यान नहीं दे रहा। सवाल यह उठता है कि जब एक सरकारी अधिकारी को भी समय पर उपचार नहीं मिल पा रहा, तो आम मरीजों की हालत क्या होगी? अस्पताल प्रशासन की इस उदासीनता पर क्या कोई ठोस कार्रवाई होगी, या फिर यह मामला भी फाइलों में दबकर रह जाएगा?
परिजनों ने की उच्चस्तरीय जांच की मांग
मृतक एसआई लक्ष्मण सिंह के परिजनों और साथियों ने इस घटना की उच्चस्तरीय जांच की मांग की है। उनका कहना है कि डॉक्टरों और अस्पताल प्रशासन की लापरवाही के कारण यह दुखद घटना हुई। परिजनों ने शासन-प्रशासन से मांग की है कि दोषियों पर कार्रवाई हो और भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों।
अब देखना यह होगा कि प्रशासन इस मामले में कोई कार्रवाई करता है या फिर जिला अस्पताल की लापरवाह कार्यशैली यूं ही जारी रहेगी!